मेरठ। रैपिड रेल का काम काफी तेजी से चल रहा है। देश की पहली हाईटैक और कई मामलों में अनोखी ये ट्रेन पहली ऐसी ट्रेन होगी जिसके प्लेटफार्म पर रूकने के बाद दोनों ओर के दरवाजे खुलेंगे। इनमें एक दरवाजा कोच में प्रवेश के लिए होगा तो दूसरा दरवाजा कोच में बैठे यात्रियों की निकासी के लिए होगा। कुछ भीड़भाड़ वाले स्टेशनों पर रैपिड रेल के लिए दोनों तरफ प्लेटफार्म बनाए गए हैं। इन
स्टेशनों पर रैपिड दो प्लेटफार्मों के बीच में रुकेगी।
दिल्ली से मेरठ तक रैपिड रेल का काम काफी तेजी से चल रहा है। सराय काले खां, राजीव चौक, मोहननगर, मोदीनगर, के अलावा मेरठ में कुछ ऐसे स्टेशन होंगे जहां पर यात्रियों का चढ़ना उतरना किसी चुनौती से कम नहीं होगा। ऐसे में इन स्टेशनों पर रैपिड रेल के दोनों ओर दरवाजे होंगे। इससे चढऩे व उतरने वाले दरवाजे अलग-अलग दिशा में होने पर यात्रियों को इस तरह की नौबत नहीं आएगी।
दिल्ली मेट्रो की तरह ही रैपिड में भी एक कोच महिलाओं के लिए आरक्षित किया जाएगा। कामकाजी महिलाओं की सुविधा को देखते हुए ऐसा किया गया है। वैसे महिलाएं किसी भी कोच में सफर कर सकेंगी। लेकिन एक कोच अलग से महिलाओं के लिए आरक्षित किया जाएगा। रैपिड रेल के लिए टनल बनाने का काम तेजी से चल रहा है। भूमिगत स्टेशन पर रैपिड रेल व मेरठ मेट्रो 6.5 मीटर व्यास की टनल से होकर पहुंचेगी। इसके लिए दो टनल बनाने का काम चल रहा है। दिल्ली रोड पर रामलीला ग्राउंड से थोड़ा आगे चलने पर आराध्या हाईट्स कांप्लेक्स हैं। ठीक इसके सामने दोनों तरफ टनल के लिए प्रवेश व निकास द्वार रहेगा। इसी तरह का एक प्रवेश व निकास द्वार टैंक चौराहे पर रहेगा।
दिल्ली की तरफ से आने वाली जो रेल मोदीपुरम की तरफ जाएगी वह पहली टनल से आराध्या हाईट्स के सामने जमीन के नीचे टनल में प्रवेश कर जाएगी। इसके बाद यह रेल टैंक चौराहे पर बने निकास द्वार से टनल के बाहर निकलेगी। फिर जमीन पर बने ट्रैक पर दौड़ते हुए एलिवेटेड हिस्से पर चढ़ जाएगी।